Thursday, July 31, 2008

किसी की मुस्कराहटों पर हो निसार ..

''किसी की मुस्कराहटों पर हो निसार ..किसी का दर्द मिल सके तो ले उधार .जीना इसी का नाम है ''

कितना प्यारा गाना है न यह ..एक छोटी सी मुस्कराहट जिंदगी में बदलाव ला देती है| हँसाना ,हँसना मुस्कराना आज कल की तनाव भरी जिंदगी में बहुत जरुरी है | नही तो अवसाद तक की हालत में पहुच सकते हैं ..जिंदगी है तो मुश्किलें तो होंगी ही उनको क्यूँ न मुस्करा कर हल किया जाए |

बहुत से ऐसे लोग दिख जाते हैं आगे की तरफ़ झुके हुए .मुहं लटका हुआ ,चेहरा खींचा हुआ | ख़ुद तो तनाव ग्रस्त होते ही हैं आस पास के माहोल भी बोझिल बना देते हैं | उन्हें देख कर ऐसा लगता है कि दुनिया कि सारी समस्या का बोझ बस उन्ही के सर पर है | हँसी और मुस्कराने से उनका कोई रिश्ता नाता ही नही है | अब ऐसे लोगो से कौन मिलना चाहेगा | कौन उनसे बात करके अपना मूड ख़राब करेगा | आपका चेहरा यूँ मुसकराता हुआ होना चाहिए कि बस जो आपसे मिले आपका ही हो का रह जाए :)

किसी की बातें अच्छी मीठी, सकारात्मक हो तो उनसे बात करने को ख़ुद ही जी चाहता है .एक मुस्कराहट से भरी तस्वीर भी आपके चेहरे पर एक मुस्कान खिला देती है .जैसे समीर जी के ब्लॉग पर समीर जी की नई तस्वीर :) उनके लिखे लेख पढ़ कर दिल खुश हो जाता है और नए ताजे विचार जहन में लिखने के लिए कुलबुलाने लगते हैं ..अब समीर जी इस को पढ़ कर कोई टैक्स न लगा दे अपने ब्लॉग पर जाने का ...ख्याल रखे :) कॉपी राइट लागू कर दे कहीं विचारों पर :)

आपकी मुस्कान और स्वास्थ का गहरा सम्बन्ध हैं | वैज्ञानिक भी कहते हैं कि अपने खोये हुए स्वास्थ को लौटाने का मूल मन्त्र है खुशी और मुस्कान | मुस्कराने से दिल मस्तिष्क हमारा श्वसन तंत्र ,पाचन तंत्र सब स्वस्थ और सक्रीय रहते हैं | घर के बुजुर्ग कहते हैं कि हँसते मुस्काराते लोग कभी बीमार नही पड़ते हैं |क्यूंकि उन में रोग से लड़ने की ताकत ज्यादा होती है |

तो फ़िर क्यूँ किस उलझन में हैं आप ? अजी मुस्कराइए .क्यूंकि आपकी एक मुस्कराहट किसी का दिल जीत सकती है ,कोई बिगडा हुआ काम बना सकती है | आपकी एक मुस्कराहट घर में खुशी का उजाला फैला देगी और आपके मित्रों की संख्या बढा सकती है | इसलिए सुबह उठ कर अपने से वादा करिए कि आज आप सिर्फ़ मुस्करायेंगे फ़िर देखिये दिन कितना हसीन बीतता है | तो मुस्कारिये..मौसम भी है ,और इसको पढ़कर वजह भी है....है की नहीं ..?

21 comments:

seema gupta said...

"what a wonderful thought , sure i am going to adopt it "
Regards

कुश said...

शुक्रिया! इस पोस्ट के लिए.. इन दिनो ऐसी ही किसी पोस्ट की ज़रूरत थी

डॉ .अनुराग said...

सच कहा आपने अब आपकी मुस्कान का राज समझे हम....आधे से अधिक बीमारिया हम तनाव की वजह से जन्मा देते है ,ओर हमारा लाइफ स्टाइल उसमे भी एक बड़ा कारण है...बहुत पहले जो बात भारतीय बुजुर्गो ओर हमारे वेद ने कही है अब वह scientific study में आ रही

बालकिशन said...

अजी हम तो पहले से इस फिलासफी के कायल है.
आपने कहा बहुत ही रोचक और मनमोहक अंदाज में.
बहुत खूब.

सुशील छौक्कर said...

अजी हम मुस्कराए बगैर ना रह सके। शुक्रिया आपका।

Mohinder56 said...

अजी आप बिल्कुल सही कह रही हैं... मगर इस दुनिया में लफ़्डे बहुत हैं...

यहां हर बात का मतलब समझाना पडता है... रोने लगो तो लोग पूछेंगे कि क्या बात है क्यों रो रहे हो... मुस्कराओ तब भी प्रशन और वो भी इस्टाईल में..

"इतना जो तुम मुस्करा रहे हो... क्या गम है जिसको छुपा रहे हो ?" हा हा

गरिमा said...

अब मै चलते चलते एक और वजह भी बता देती हूँ, कुछ दिनो पहले एक एस एम एस आया था..

your smile can create wonders in anyone life... or it can create any wonder in your life... so keep smiling :)

vipinkizindagi said...

बहुत रोचक पोस्ट

Abhishek Ojha said...

बिल्कुल सही बात है... हम भी मुस्कुरा रहे हैं... बगल में मेरा बैठा दोस्त सोच रहा है कुछ ख़ास ईमेल देख के हंस रहा हूँ... पूछ रहा है किसका ईमेल है :-) देखिये कितना फायदा है मुस्कुराने का !

शोभा said...

रंजू जी
बहुत ही सुन्दर बात कही है आपने। बस यह सीख जाएँ तो जीवन की सारी समस्याओं से मुक्ति मिल जाए। एक सुन्दर लेख के लिए बधाई।

नीरज गोस्वामी said...

रंजू जी
आप मुस्कुराने की बात करती हैं आपके ब्लॉग को खोलते ही नाचने को जी करता है...मैंने पहले भी कहा था की ताल का जो गीत आपने लगाया है वो सारे अवसाद एक क्षण में हर लेता है...
नीरज

Pragya said...

wah wah ranjana ji.... baat purani hi kahi hai par asardaar kahi hai... subah subah aapki post padhke mazaa aa gaya... aur usme sameer ji ka jikra kiya hai to hoth apne aap muskurane lage hain... yeh hai unka charisma!!

रंजन गोरखपुरी said...

हल्की सी मुस्कराहट आ‌ए तो लबों पे,
फिर मुश्किलों को "रंजन" आसान देखि‌ए ... :)

रश्मि प्रभा... said...

jeena isi ka naam hai,
aur muskuraane par vivash kar dena-jabardast kala.....
bahut maza aaya muskuraakar...

लावण्यम्` ~ अन्तर्मन्` said...

Very sweet post ;-))
Desrves 3 CHEERS !!

राज भाटिय़ा said...

बहुत से ऐसे लोग दिख जाते हैं आगे की तरफ़ झुके हुए .मुहं लटका हुआ ,चेहरा खींचा हुआ ....... अजी मुझे कब देख लिया जो मेरी तस्वीर ही अपने शब्दो मे उतार दी, वेसे तो मे इतना भी सडियल नही, थोडा बहुत जरुर हु:)
मजाक कर रहा हु, बुरा ना माने,
यह गीत ही मेरी जान हे, ओर मेरी यही कोशिश होती हे मेरे कारण किसी सुख नही तो दुख भी न मिले.
बहुत सुन्दर विचार लिखे हे आप ने , मे आया भी काफ़ी समय बाद हु, नमस्कार

Udan Tashtari said...

६ इंच की मुस्कान लिए घूम रहा हूँ..बहुत सुन्दर, बहुत रोचक मुस्कराती हुई पोस्ट-बधाई.

Nitish Raj said...

आपकी सोच वाकई लाजवाब है, अच्छी सोच के साथ आपने इस पोस्ट को पोस्ट किया है। चलो, उठें और खुशी-खुसी आगे बढ़ें।
सुंदर रचना, अति उत्तम।।।।।।

Rajesh Roshan said...

एक दम सही लिखा है...डाक्टर के भी बात से सहमत हू

Unknown said...

मुस्कान जोड़ती है. जरा सा मुस्कुराइए और किसी से भी जुड़ जाइए. एक सुंदर प्रस्तुति के लिए वधाई.

Anonymous said...

:)